फरीदाबाद: फर्जी डाक्यूमेंट्स पर जमानत दिलाने वाले गिरोह का भंड़ाफोड़, 3 आरोपी गिरफ्तार
फर्जी जमानती, शिनाख्ती एवं फर्जी ड्राईवर अदालत में खड़े कर गुनहगारों को दिलाते थे बेल
फरीदाबाद फर्जी डाक्यूमेंट्स बनाकर कोर्ट के मुकदमों में जमानत दिलाने वाले 3 आरोपी को क्राइम ब्रांच बदरपुर बॉर्डर प्रभारी इंस्पेक्टर सेठी मलिक की टीम ने गिरफ्तार करने में कामयाबी हासिल की है। आरोपी जमशेद गांव मादलपुर धौज, आरोपी संजय डबुआ कॉलोनी और आरोपी मनीष संजय कॉलोनी का रहने वाला है।
शनिवार को पत्रकार वार्ता में डीसीपी क्राइम नरेंद्र कादियान ने बताया कि क्राइम ब्रांच टीम ने तीनों आरोपियो को गुप्त सूत्रों से प्राप्त सूचना के आधार पर मुख्य सिपाही रविन्द्र को फर्जी डाक्यूमेंट्स बनवाने के लिए 5000 रुपए दिए और आरोपियों के पास भेज दिया आरोपियो ने पैसे लेकर आपस में बाट लिए। मुख्य सिपाही ने सब इंस्पेक्टर जमिल के नेतृत्व में गई टीम को इशारे से बुलाया। तीनों आरोपियों को मौके से ही काबू कर लिया। आरोपियों से चेकिंग के दौरान दिए गए पैसे और फर्जी आईडी और फर्जी फर्द जमीन बरामद की गई है। आरोपियो के खिलाफ थाना सेन्ट्रल में फ्रॉड करने की धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। पूछताछ में सामने आया की आरोपी जमशेद, मनीष व संजय ने साथ मिलकर वर्ष 2019/20 से फरीदाबाद कोर्ट में फर्जी आईडी के द्वारा छोटे-बड़े सभी प्रकार के आरोपियों की फर्जी जमानती देने का काम शुरु किया था।
आरोपी 2019/20 से लेकर अब तक करीब 50 लोगों को जमानत दिला चुके हैं। फर्जी डाक्यूमेंट्स से जमानत दिलाने वाला गिरोह का सरगना मुख्य आरोपी वकील अपने माध्यम से गुनहगार को फर्जी जमानत दिलाने का काम दिलाता था। संजय नाम का व्यक्ति फर्जी ड्राईवर बन कर एक्सीडेंट के मुकदमों में पैसों के लिए फर्जी ड्राईवर बनता था। वकील इस गैंग का सरगना है वकील ही इनको फर्जी आईडी व जमीन की फर्जी फर्द बनाकर देता था। वकील ही सभी को जमानत का काम दिलाता था। पूछताछ में आरोपी जमशेद, मनीष व संजय नागर ने बताया कि वे वकील के कहने पर फरीदाबाद में फर्जी आईडी देकर फर्जी जमानत व फर्जी ड्राईवर बन कर एक्सीडेंट के मामलों में फर्जी क्लेम ले लेते थे। आरोपियो से मौके पर फर्जी आईडी और आरोपी जमशेद से 2250 रुपये, संजय से 1750 रुपये और आरोपी मनीष से 1610रु बरामद हुए है। आरोपियों को अदालत में पेश करके तीन दिन के रिमांड पर लिया गया है, ताकि गिरोह के अन्य आरोपियों के बारे में पता लगाया जाएगा।